दिल्ली : डॉ. निशा सिंह
दिल्ली में आज 3 जून से 5 जून तक RSS के दस शीर्ष नेताओं की तीन दिन की बैठक हो रही है. संघ प्रमुख मोहन भागवत की अध्यक्षता में शुरू हो रही शीर्ष पदाधिकारियों की तीन दिवसीय बैठक में कोविड की तीसरी लहर के लिए तैयारी, बंगाल में चुनाव बाद हिंसा और देश की वर्तमान स्थिति जैसे मुद्दों पर चर्चा होने की संभावना है. भागवत के अलावा सभी पांचों सह सरकार्यवाह और सुरेश भय्याजी जोशी दिल्ली में होंगे तथा वे विभिन्न मुद्दों पर चर्चा करने के लिए कई दौर की बैठकें करेंगे.
आपको बता दें कि आरएसएस के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले द्वारा इस सप्ताह के प्रारंभ में राजनीतिक रूप से अहम उत्तर प्रदेश से संघ के पदाधिकारियों के साथ बैठक करने के कुछ दिन बाद ये बैठक हो रही है. समझा जाता है कि होसबाले ने इस बैठक में कोविड-19 के प्रबंधन के बारे में फीडबैक लिया था. सूत्रों ने अनुसार आज ‘भागवत के अलावा सभी पांचों सह सरकार्यवाह और सुरेश भैय्याजी जोशी दिल्ली में होंगे तथा वे विभिन्न मुद्दों पर चर्चा करने के लिए कई दौर की बैठकें करेंगे.’ बंगाल में चुनाव बाद हिंसा, उत्तर प्रदेश की वर्तमान मुद्दे इस बैठक में छाये रहने की संभावना है. संघ के सूत्रों ने इसे शीर्ष पदाधिकारियों की अनौपचारिक बैठक बताया है जो हर महीने होती है.
योगी सरकार के काम-काज को लेकर दो दिनों तक लखनऊ में मीटिंग हुई. यूपी बीजेपी प्रभारी राधा मोहन सिंह और राष्ट्रीय महामंत्री बीएल संतोष ने ‘फीडबैक’ रिपोर्ट तैयार कर ली है. वह जल्द ही अपनी रिपोर्ट पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को देंगे. इसके आधार पर यूपी में सरकार और संगठन में फेरबदल किया जा सकता है. यूपी में 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले बीएल संतोष ने 1 जून को बंद कमरे में सरकार के मंत्रियों को अलग-अलग बुलाकर जमीनी हकीकत जानी है. ये मुद्दा भी बैठक में रहेगा.
दरअसल कोरोना काल में देश में स्वास्थ्य व्यवस्था चरमराई हुई है. बीजेपी शाषित राज्यों में पब्लिक नाराज दिख रहे रहे हैं. बीजेपी इस नाराजगी को दूर करने का प्रयास कर रही है. हाल में बंगाल, केरल, तमिलनाडु में विधान सभा चुनाव में हार से बीजेपी सकते है. अगले साल उत्तर प्रदेश समेत पांच राज्यों में विधान सभा चुनाव होने हैं. बीजेपी अभी से तैयारी में जुटी है. आरएसएस की होने वाली बैठक में भी यही मुद्दा प्रमुख रहेगा.