राममंदिर भारत के स्वाभिमान और गौरव का प्रतीक बनेगा – आरएसएस

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डॉ. निशा सिंह

आरएसएस और बीजेपी के समन्वय समिति की तीन दिनों तक गुजरात के गांधीनगर में चली बैठक आज खत्म हो गयी. इस बैठक में देश केे वर्तमान हालात को लेकर चर्चा हुई. आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत की अध्यक्षता में ये बैठक संपन्न हुई. बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा और बीएस संतोष भी इस बैठक में शामिल थे. इस बैठक में किसान आंदोलन, कोरोनावायरस, अर्थव्यवस्था, पांच राज्यों में होनेवाले विधानसभा चुनावों को लेकर गहन विचार-विमर्श किया गया. बैठक के अंतिम दिन आरएसएस की तरफ से प्रेस-कांफ्रेंस करके मीटिंग के बारे में जानकारी दी गयी.

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सह सर कार्यवाह डॉ. कृष्ण गोपाल ने कांफ्रेंस में कहा कि कोरोना काल में गिरती अर्थव्यवस्था, बेरोजगारी, संक्रमण के प्रसार को रोकना, किसान आंदोलन, स्वदेशी वस्तुओं का निर्माण और इस्तेमाल, आदि प्रमुख चुनौतियां थी, लेकिन इसके बावजूद भारत ने नई उंचाईयां हासिल की है. किसानों को सरकार के साथ बैठकर चर्चा करनी चाहिए, बातचीत से ही समाधान निकलना चाहिए. बता दें कि कल सरकार और किसानों के बीच एक बार फिर से बैठक होने जा रही है. इससे पहले हुई बैठकें बेनतीजा रही हैं.

राममंदिर भारत के स्वाभिमान और गौरव का प्रतीक

राममंदिर देश के स्वाभिमान का प्रतीक बताते हुए गोपाल जी ने कहा कि सरकार के प्रयासों से रामजन्म भूमि का विषय आज महत्वपूर्ण स्थान पर आ गया है, जिसका हल वर्षों से नहीं हो पा रहा था. भव्य राममंदिर बनाने के लिए देशभर में ही नहीं, बल्कि दुनिया में वातावरण बना है.
राममंदिर निर्माण के लिए पूरे देश में व्यापक संपर्क का कार्य होगा, जिससे भारतीयों में एकता और राष्ट्रीयता का प्रसार होगा. सभी कार्यकर्ता देशभर के 5 लाख गांवो में जाएंगे और हमारा अनुमान है कि 10 करोड़ से अधिक परिवारों से व्यापक संपर्क करेंगे. प्रत्येक घर से सहयोग मिलेगा. 10 रुपये से लेकर 100 और 1000 रुपये या इससे अधिक लोग अपनी शक्ति और इच्छा से सहयोग करेंगे. 30 से अधिक संगठनों ने मिलकर सशक्त, स्वाभिमानी, आत्मनिर्भर भारत बनाने का लक्ष्य रखा है.

आरएसएस के कार्यकर्ता रात-दिन सेवा के कार्य में लगे हैं

गोपाल जी ने बताया कि ये बैठक पहले सितंबर महीने में होने वाली थी, लेकिन कोरोना वायरस महामारी के चलते टाल दी गई थी. उन्होंने कहा कि इस बैठक में स्वयंसेवकों द्वारा कोरोना काल में किए गए राहत कार्यों पर चर्चा की गई. स्वयं सेवकों ने कोरोना काल में बच्चों को शिक्षा देने का काम किया गया है. स्वयंसेवक संघ के देशभर के लाखों कार्यकर्ता बड़ी आत्मियता के साथ समाज के साथ कंधे से कंधा मिलाकर लगे हुए हैं, ताकि देश आत्मनिर्भर बने, तेजी से आगे बढ़े, स्किल डेवलपमेंट से रोजगार मिल सके.

सबके मिले-जुले प्रयासों से देश में लाखों लोगों को रोजगार मिल रहा है. मोदी सरकार ने कोरोना के इस दौर में सभी मोर्चों पर अच्छा काम किया है. नई शिक्षा नीति की बहुत सारी सुंदर बातें हैं, जो छात्रों के संपूर्ण विकास के लिए जरुरी है. भारतीय भाव आधारित शिक्षा की और आगे बढ़ रहे है, मूल्यों और नैतिकता के साथ चरित्र निर्माण देश को बहुत आगे ले जाएगा.

किसान आंदोलन और भारत की गिरती अर्थव्यवस्था पर गोपाल जी ने कहा कि इतने बड़े देश मे छोटी -छोटी समस्याएं रहती हैं, लेकिन इसका देश के विकास और एकता पर किसी तरह का असर नहीं होता है.

Jetline

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