शार्प वे न्यूज़ नेटवर्क :
बिहार में चुनाव से पहले गैंगवार की घटना से सियासी माहौल गर्म है. खबर ये है कि मोकामा के पूर्व विधायक और बाहुबली नेता अनंत सिंह ने बाढ़ कोर्ट में सरेंडर कर दिया है. मोकामा शूटआउट मामले में पूर्व विधायक अनंत सिंह को 14 दिन के न्यायिक हिरासत में पटना के बेउर जेल भेज दिया गया है.
आपको बता दें कि पिछले साल अगस्त महीने में पूर्व बाहुबली विधायक अनंत सिंह को बेउर जेल से रिहा हुए थे. उनके घर पर एके-47 मिलने के मामले में वे जेल में बंद थे. पटना उच्च न्यायालय ने अनंत सिंह को एक-47 व एक अन्य मामले में दोष मुक्त कर दिया था. साल 2015 के 24 जून को अनंत सिंह के पटना स्थित घर में छापेमारी में हथियार बरामद किया गया था. इंसास राइफल, मैगजीन, बुलेट प्रुफ जैकेट की कथित रूप से बरामदगी हुई थी. पटना स्थित घर से एके-47, गोलियां और 2 ग्रेनेड भी बरामद हुई थी. इसी मामले में दोषी पाए जाने के बाद कोर्ट ने 10 साल की सजा सुनाई थी. 5 साल जेल में रहने के बाद अनंत सिंह रिहा हो गए थे.
बाढ़ के एसपी राकेश कुमार कहा है कि पुलिस के दबाव के बाद अनंत सिंह ने सरेंडर किया है. वह बेउर जेल भेजे जा रहे हैं. आज सबेरे अनंत सिंह ने बाढ़ अनुमंडल न्यायालय में सरेंडर कर दिया है. वहां भारी संख्या में पुलिस मौजूद है. वहीं, इससे पहले सोनू-मोनू गैंग के सोनू और अनंत सिंह के समर्थक रौशन को भी गिरफ्तार किया गया था.
अब मोकामा प्रखंड के पंचमहला थाने के नौरंगा-जलालपुर गांव में शुक्रवार अहले सुबह मुकेश सिंह के घर पर फायरिंग का मामला सामने आया था. फायरिंग की सूचना मिलने के बाद घटना स्थल पर पहुंची पुलिस ने मौके से फायर किए गए गोली का खोखा बरामद किया है. अनंत सिंह पर आरोप है कि वे सोनू-मोनू के घर पर गए थे, जहाँ से गैंगवार की घटना हुई थी. इस घटना में सैकड़ों चक्र गोली चली और इसमें एक व्यक्ति घायल भी हुए हैं. अनंत सिंह ने कहा था कि उनपर सोनू-मोनू गैंग ने हमला किया था, जबकि सोनू-मोनू गैंग का आरोप है कि अनंत सिंह अपने गुर्गों को लेकर उनके घर पर हमला किया था. सोनू-मोनू की मां वर्तमान में पंचायत की मुखिया हैं. आपको बता दें कि हाल में एक कार्यक्रम में ललन सिंह को सोनू ने शाल देकर सम्मानित भी किया था. सोनू-मोनू, केंद्रीय मंत्री ललन सिंह के करीबी भी है.
इससे पहले अनंत सिंह लोकसभा चुनाव 2024 के दौरान 15 दिनों के लिए पैरोल पर बाहर निकले थे. इस समय से चर्चा थी कि अनंत सिंह और सरकार के बीच में जो दूरी बढ़ गई थी, वह खत्म हो गई है. उन्हें जल्द रिहा किया जाएगा. यह चर्चा सच साबित हो गयी. लोकसभा चुनाव के दौरान अनंत सिंह ने जदयू प्रत्याशी ललन सिंह के लिए जमकर प्रचार प्रसार किया था और ललन सिंह की जीत हुई थी.
